खैरथल-तिजारा। जिला कलेक्टर किशोर कुमार ने कोटकासिम की ग्राम पंचायत बघेरी खुर्द में रात्रि चौपाल का आयोजन कर ग्रामीणों की समस्याओं का समाधान किया। ग्राम पंचायत बघेरी खुर्द के राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में आयोजित इस चौपाल में जिला प्रशासन के विभिन्न विभागों के अधिकारी भी उपस्थित रहे।
समस्याओं का त्वरित निस्तारण:
चौपाल के दौरान ग्रामीणों ने जल जीवन मिशन, खंबे पर लूज वायर, बिजली से संबंधित, खेल मैदान से अतिक्रमण हटाने, खाद्य सुरक्षा योजना में नाम जुड़वाने, अवैध अतिक्रमण हटाने और पट्टा दिलाने जैसी समस्याएं रखीं। कुल 17 परिवाद दर्ज किए गए, जिनमें से कई का मौके पर ही समाधान कर दिया गया। जिला कलेक्टर ने संबंधित अधिकारियों को निर्देश दिए कि शेष समस्याओं का शीघ्र निस्तारण सुनिश्चित किया जाए।
ग्रामीणों के द्वार पहुंचा प्रशासन:
जिला कलेक्टर ने कहा कि रात्रि चौपाल का मुख्य उद्देश्य प्रशासन को पंचायत स्तर तक ले जाना है, ताकि ग्रामीणों को अपनी समस्याओं के समाधान के लिए जिला मुख्यालय तक न जाना पड़े। उन्होंने जल संरक्षण के महत्व पर जोर देते हुए ग्रामीणों को पानी बचाने और जल स्रोतों के संरक्षण के लिए प्रेरित किया।
विभिन्न योजनाओं की दी गई जानकारी:
- कृषि विभाग: कृषि अधिकारियों ने सिंगल सुपर फास्फेट उर्वरक के लाभ और कृषि योजनाओं, जैसे तारबंदी योजना, फार्म पॉन्ड योजना और प्याज भंडारण योजना की जानकारी दी।
- समाज कल्याण विभाग: समाज कल्याण अधिकारी ने वृद्धावस्था पेंशन योजना, विधवा पेंशन योजना, मुख्यमंत्री पालनहार योजना और मुख्यमंत्री कन्यादान योजना के बारे में ग्रामीणों को जागरूक किया।
- * चिकित्सा विभाग एवं पीएचईडी विभाग:* तंबाकू मुक्त अभियान, स्वास्थ्य जीवन शैली नवाचार, जल जीवन मिशन और पीएम विश्वकर्मा योजना सहित अन्य सरकारी योजनाओं के आवेदन और प्रक्रिया पर चर्चा की गई।
प्रशासनिक अधिकारियों की उपस्थिति:
इस अवसर पर अतिरिक्त जिला कलेक्टर शिवपाल जाट, उपखण्ड अधिकारी संजीव कुमार, नायब तहसीलदार वीरेंद्र, सरपंच और अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे। चौपाल में बड़ी संख्या में ग्रामीणों ने भाग लिया और प्रशासन की इस पहल की सराहना की।
ग्रामीणों में दिखा विश्वास:
रात्रि चौपाल ने प्रशासन और ग्रामीणों के बीच संवाद को मजबूत किया है। इस पहल से न केवल समस्याओं का समाधान तेज हुआ है, बल्कि लोगों में प्रशासन के प्रति विश्वास भी बढ़ा है। जिला प्रशासन की यह पहल पंचायत स्तर पर सुशासन की एक मिसाल बन रही है।